- मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने लाडवा के गांव बुहावी में तिरंगा यात्रा की अगुवाई कर लोगों में भरा देशभक्ति का जज़्बा
- बोले: यह राष्ट्रभक्ति और बलिदान की भावना को सच्ची श्रद्धांजलि देने का अवसर
- ग्राम पंचायत बुहावी को विकास कार्यों के लिए 21 लाख रुपये देने की घोषण
हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि हमारे वीर सैनिकों ने जिस साहस, निष्ठा और अनुशासन के साथ ऑपरेशन सिंदूर को अंजाम दिया है, वह केवल एक सैन्य कार्रवाई नहीं, बल्कि यह भारत की राष्ट्रीय गरिमा और आत्मबल का प्रतीक बन चुका है। मुख्यमंत्री लाडवा विधानसभा क्षेत्र के गांव बुहावी में आयोजित तिरंगा यात्रा से पूर्व एक जनसभा को संबोधित कर रहे थे। इस यात्रा में बड़ी संख्या में युवाओं, महिलाओं और बुजुर्गों ने भाग लिया और देश के वीर सैनिकों तथा ऑपरेशन सिंदूर में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने ग्राम पंचायत बुहावी को विकास कार्यों के लिए 21 लाख रुपये देने की घोषणा भी की। मुख्यमंत्री सैनी ने कहा कि आज का यह आयोजन सिर्फ एक यात्रा नहीं, बल्कि राष्ट्रभक्ति के जज्बे और बलिदान की भावना को सच्ची श्रद्धांजलि है। ऑपरेशन सिंदूर के तहत भारतीय सेना ने चार दिनों में पाकिस्तान को घुटनों पर ला खड़ा किया। उन्होंने कहा कि वे उन वीर जवानों को नमन करते हैं
जिन्होंने इस अभियान में भाग लिया, और उन माताओं को प्रणाम करते हैं जिन्होंने ऐसे रणबांकुरों को जन्म दिया।
गांव की मिट्टी में रची-बसी है देशभक्ति
मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा की भूमि वीरता की पहचान है। गांव-गांव से जवान भारत माता की सेवा में समर्पित हैं। तिरंगा यात्रा के माध्यम से गांव बुहावी के लोगों ने यह स्पष्ट कर दिया है कि देशभक्ति गांव की मिट्टी के कण-कण में समाई हुई है।
ऑपरेशन सिंदूर ने दिखाया भारत का नया आत्मविश्वास
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत ने यह स्पष्ट संदेश दिया है कि वह अपने नागरिकों की सुरक्षा के लिए किसी भी हद तक जा सकता है। उन्होंने बताया कि ऑपरेशन सिंदूर के तहत सेना ने पाकिस्तान के 9 आतंकी ठिकानों और 11 एयरबेस को ध्वस्त किया।
सैन्य के साथ-साथ गैर-सैन्य कार्रवाइयां भी निर्णायक
मुख्यमंत्री ने कहा कि यह सिर्फ सैन्य अभियान नहीं था, बल्कि भारत ने सिंधु जल संधि निलंबित की, पाक नागरिकों को वापस भेजा, वीजा और व्यापार बंद किया और अटारी बॉर्डर सील कर पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय मंचों पर अलग-थलग कर दिया। यह एक प्रतिशोध नहीं, बल्कि भारत की अस्मिता की रक्षा थी। उन्होंने बताया कि ऑपरेशन सिंदूर का नाम सीता नवमी पर महिलाओं के सम्मान की पुनर्प्रतिष्ठा के प्रतीक रूप में रखा गया, क्योंकि आतंकवादियों ने पहलगाम में महिलाओं पर हमला किया थ
संयम और शांति के साथ दिखाई ताकत
सीएम सैनी ने कहा कि जब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सीजफायर की मांग उठी, तो भारत ने संयम का परिचय देते हुए शांति को प्राथमिकता दी। यह निर्णय केवल सैन्य नहीं था, बल्कि मानवीयता और परिपक्वता का उदाहरण था। भारत युद्ध का समर्थक नहीं है, लेकिन शांति को कमजोरी समझने वालों को करारा जवाब देना जानता है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में सेना का सशक्तिकरण हुआ है और भारत की वैश्विक प्रतिष्ठा में अभूतपूर्व वृद्धि हुई है। इस अवसर पर पूर्वमंत्री सुभाष सुधा, भाजपा जिलाध्यक्ष तजेंद्र सिंह गोल्डी सहित बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे।
