गुरु जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, हिसार में शैक्षणिक सत्र 2025-26 के लिए नियमित पाठ्यक्रमों में दाखिला प्रक्रिया जारी है। विश्वविद्यालय के विभिन्न पाठ्यक्रमों में दाखिले के प्रति विद्यार्थियों में जबरदस्त उत्साह है। नियमित पाठ्यक्रमों में दाखिले के लिए अब तक 8221 आवेदन प्राप्त हो चुके हैं। अंडरग्रेजुएट पाठ्यक्रमों में दाखिले के लिए 5586 तथा पोस्टग्रेजुएट पाठ्यक्रमों में दाखिले के लिए 2635 आवेदन प्राप्त हो चुके हैं। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने बताया कि गुजविप्रौवि में विद्यार्थियों को 93 से अधिक नियमित कोर्सों में दाखिला लेने के अवसर प्राप्त हैं। नियमित पाठ्यक्रमों में दाखिले के लिए आवेदन करने की अंतिम तिथि 12 जून है। अपनी रूचि के अनुसार विद्यार्थी इन कोर्सिज में दाखिला लेकर अपना करियर बना सकते हैं। विश्वविद्यालय ने विभिन्न नियमित कोर्सों के लिए दाखिलों के संबंध में विश्वविद्यालय द्वारा हैल्पलाइन व हैल्पडैस्क भी स्थापित किए गए हैं। उन्होंने बताया कि गुरु जम्भेश्वर जी महाराज के नाम पर स्थापित यह विश्वविद्यालय राष्ट्रीय तथा अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर लगातार नए आयाम छू रहा है। विश्वविद्यालय ने स्कोपस में अनुक्रमित 5394 से अधिक शोध पत्र प्रकाशित किए हैं, जिसमें संचयी उद्धरण संख्या 116751 है। विश्वविद्यालय का एच-इंडेक्स 133 है, जो कि इस क्षेत्र में सर्वाधिक है। विश्वविद्यालय में अंतर्राष्ट्रीय आधारभूत ढांचा एवं उच्च स्तरीय सुविधाएं उपलब्ध हैं। यह विश्वविद्यालय पर्यावरण संरक्षण के क्षेत्र में भी अपना अतुलनीय योगदान दे रहा है। कुलपति प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने बताया कि अंतर्राष्ट्रीय स्तर की टाइम्स हायर रेंकिंग 2025 में विश्वविद्यालय को भारत में 59वां स्थान प्राप्त हुआ है। वहीं फिजिकल साइंस विषय केटेगरी में विश्वविद्यालय को देश में 33वां स्थान प्राप्त हुआ है। यंग यूनिवर्सिटी रैंकिंग में विश्वविद्यालय को भारत में 41वां स्थान तथा विश्व में 401 से 500 रैंक बैंड हासिल हुआ है। वहीं नेशनल इंस्टीट्यूशनल रैंकिंग फ्रेमवर्क (एनआईआरएफ) रैंकिंग 2024 में राज्य सार्वजनिक विश्वविद्यालय श्रेणी में गुजविप्रौवि ने 47वीं रैंक हासिल की है। कुलपति प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने बताया कि गुजविप्रौवि के विद्यार्थियों ने अपनी स्थापना से पहली बार अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर कैम्पस प्लेसमेंट हासिल की है। दो विद्यार्थियों का दुबई की प्रतिष्ठित कंपनियों में चयन हुआ है। गुजविप्रौवि ने जून 2025 को समाप्त होने वाले शैक्षणिक सत्र के लिए शानदार प्लेसमेंट प्रदर्शन दर्ज किया है, जिसमें 18 विभिन्न पाठ्यक्रमों से 155 प्रतिष्ठित कंपनियों में कुल 581 विद्यार्थियों को प्लेसमेंट मिला है। यह सफलता अकादमिक उत्कृष्टता और उद्योग तत्परता के प्रति विश्वविद्यालय की प्रतिबद्धता में एक और महत्वपूर्ण मील का पत्थर है। इस उपलब्धि में प्रमुख योगदान कैरियर वर्स जॉब फेयर 2025 का रहा, जिसके माध्यम से 200 से अधिक विद्यार्थियों ने रोजगार के अवसर हासिल किए, जो विश्वविद्यालय और कॉर्पोरेट क्षेत्र के बीच मजबूत सहयोग को दर्शाता है। कैरियर वर्स 2025 में विभिन्न प्लेसमेंट ड्राइव में, गुजविप्रौवि के पूर्व विद्यार्थी भर्ती करने के लिए आए। यह इस बात का प्रमाण है कि गुजविप्रौवि के पास पूर्व विद्यार्थियों के संबंध का बहुत मजबूत नेटवर्क है। प्रो. नरसी राम बिश्नोई ने बताया कि इस सत्र के दौरान 11.50 लाख रुपए वार्षिक उच्चतम पैकेज भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (बीईएल) द्वारा पेश किया गया था, जो गुजविप्रौवि में प्रतिभा पूल में शीर्ष स्तरीय कंपनियों के बढ़ते भरोसे को उजागर करता है। शीर्ष भर्तीकर्ताओं में इंफोसिस द्वारा 101 विद्यार्थियों तथा कॉग्निजेंट द्वारा 11 विद्यार्थियों को प्लेसमेंट दी गई। साथ ही बोर्ड ऑफ अप्रेंटिसशिप ट्रेनिंग के तहत जुबिलेंट फूडवर्क्स ने 35 विद्यार्थियों को समायोजित किया। उन्होंने यह भी बताया कि विश्वविद्यालय की रणनीतिक पहलों में से एक, बीटेक और एमबीए विद्यार्थियों के लिए अंतिम सेमेस्टर इंटर्नशिप कार्यक्रम, एक गेम-चेंजर साबित हुआ है। इस वर्षलगभग 180 विद्यार्थियों ने अंतिम सेमेस्टर के प्रशिक्षु के रूप में अपनी पेशेवर यात्रा शुरू की। यह कदम भर्तीकर्ताओं द्वारा तत्काल ऑनबोर्डिंग के उद्देश्य से अत्याधिक सराहा गया। अन्य प्रसिद्ध और नियमित भर्ती भागीदारों में इंफोसिस, टीसीएस, एचसीएल, यूफ्लेक्स, एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल, आईएसजीईसी, नागरो, ब्लिंकिट, स्विगी, जिंदल स्टेनलेस स्टील, वीडीओआईटी, एलटीआईमाइंडट्री और डब्ल्यूएनएस ग्लोबल शामिल हैं, जो गुजविप्रौवि के कुशल विद्यार्थियों में उद्योग के विश्वास को प्रदर्शित करते हैं। उन्होंने बताया कि लगभग 15-20 और प्लेसमेंट ड्राइव हैं, जो पाइपलाइन में हैं। सत्र 2024- 2025 के लिए प्लेसमेंट अभियान सितंबर 2025 तक जारी रहेगा।