- आर्य समाज नागोरी गेट में वेद प्रचार सप्ताह श्रावणी उपाक्रम जारी
आर्य समाज लाला लाजपत राय चौक नागोरी गेट हिसार में चल रहे वेद प्रचार सप्ताह श्रावणी उपक्रम का शुभारंभ संसार के सर्वश्रेष्ठ कर्म यज्ञ से प्रारंभ हुआ। आज तीसरे दिन के यज्ञ के यज्ञमान अशोक गौतम व रेखा गौतम, मांगेराम आर्य व उनकी धर्मपत्नी, सनी आर्य व गीता आर्या, सुषमा गांधी संगीताचार्यारहे। यज्ञ का संपादन आर्य समाज के पुरोहित धर्माचार्य कर्मवीर शास्त्री ने किया। यज्ञ के उपरांत डीएवी पुलिस पब्लिक स्कूल के बच्चों ने अपनी सुंदर प्रस्तुति दी एवं रेखा गौतम का सुंदर भजन हुआ। संसार के केंद्र नाभि की चर्चा करते हुए डॉ. वेदपाल ने समझाया कि जिस प्रकार शारीरिक स्वास्थ्य के लिए नाभि का अपने स्थान पर स्थिर रहना जरूरी है। उसी प्रकार संसार की नाभि यज्ञ का सुव्यवस्थित रहना आवश्यक है। यज्ञ केवल अग्नि में कुछ द्रव्य समर्पित करना ही नहीं है। यह तो उसका बाह्य स्थूल रूप है। आंतरिक रूप उसकी आत्मा है। जिस प्रकार आत्मा के न रहने पर शरीर किसी काम का नहीं रहता है, उसी प्रकार यज्ञ की आत्मा उसके
भाव का अभाव होने पर अनुपयोगी हो जाता है। मेरठ से पधारे आचार्य कुलदीप आर्य ने अपने भजनों के माध्यम से सब को प्रभु भक्ति के रस में सराबोर कर दिया। उन्होंने कहा कि यह संसार प्रभु के जीवों को सुख देने के लिए रचा है परंतु फिर भी सारे लोग सुखी तो नहीं हैं क्योंकि जब भी जीवन प्रभु के मार्ग से विचलित होकर विपरीत चलेगा तब-तब उसके जीवन में कष्ट आएंगे। उन्होंने वेद मंत्र का अर्थ करते हुए कहा कि उस परमात्मा को भूल जाना ही अर्थात भक्ति न करना ही मृत्यु आदि दुख का हेतु है। भजनों के माध्यम से प्रभु की स्तुति करते हुए उन्होंने कहा कि ‘सुख धाम सदा तेरा नाम सदा कोई तुमसा और महान नहीं, सुख के अभिलाषी प्राणी को भगवान भुलाना ठीक नहीं।’ इस अवसर पर देवेंद्र सिंह सैनी प्रधान, नरेंद्र पाल मिगलानी मंत्री, बलराज सिंह मलिक कोषाध्यक्ष, बलराज सिंह मलिक, रमेश लीखा, गोपीचंद आर्य, सुशील लीखा, आचार्य सुनील गोयल, रामस्वरूप शास्त्री, मान सिंह पाठक, आचार्य देवदत्त, सुरेंद्र रावल, मुनिराम आर्य व कुलदीप ग्रोवर आदि उपस्थित रहे।